मनोज श्रीवास्तव/लखनऊ। यूपी पुलिस के रवैये के चलते कई बार प्रदेश सरकार को शर्मसार होना पड़ा है। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो ने यूपी पुलिस के दामन पर एक बार फिर से दाग लगा दिया।लोगों को अपराध से बचाने वाली यूपी पुलिस वीडियो में खुद अपराध को बढ़ावा देते हुए नजर आई।यही नहीं थाने में आने वाले फरियादियों को यहां तैनात इंस्पेक्टर भ्रष्टाचार और कानून तोड़ने की सलाह देते वीडियो में दिख रहे हैं।
वीडियो वायरल होने के बाद पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया। मामला जब पुलिस के उच्चाधिकारियों तक पहुंचा तो उन्होंने इंस्पेक्टर और एक सिपाही को सस्पेंड कर दिया। मामला लखीमपुर खीरी जिले के तिकुनिया कोतवाली का है। यहां एक लकड़ी ठेकेदार वन विभाग से पेड़ काटने की अनुमति लेकर कोतवाली पहुंचा। लकड़ी ठेकेदार से कोतवाली में तैनात इंस्पेक्टर प्रतिशत के हिसाब से पैसा जमा करके लकड़ी कटवाने की बात कहते हुए नजर आ रहे हैं। इतना ही नहीं वीडियो में इंस्पेक्टर लकड़ी कटान में पुलिस का वह रेट भी बताते दिख रहे हैं। वीडियो में साफ तौर पर देखा जा रहा है कि इंस्पेक्टर हनुमत प्रसाद लकड़ी ठेकेदार को भ्रष्टाचार का पाठ पढ़ाते हुए दिख रहे हैं। वीडियो में इंस्पेक्टर ओवरलोडिंग और वन विभाग से मिली पेड़ काटने की अनुमति से दोगुने पेड़ काटने की सलाह देते नजर आ रहे हैं। वीडियो में इंस्पेक्टर हनुमान प्रसाद कहते हैं कि थाने में पैसा जमा कराओ। फिर चाहे ओवरलोडिंग करो या फिर एक के बदले चार पेड़ काट ले जाओ। इस बीच किसी शख्स ने इसका वीडियो बना लिया और सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। थाने में लकड़ी कटवाने को लेकर ठेकेदार से पैसा मांगने वाले तिकुनिया कोतवाली में तैनात इंस्पेक्टर हनुमान प्रसाद को एसपी विजय धुल ने सस्पेंड कर दिया है। इसके साथ ही एसपी ने कोतवाली में तैनात एक सिपाही को भी सस्पेंड किया है। यूपी पुलिस के एक इंस्पेक्टर का भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने का वीडियो वायरल हुआ तो पुलिस अधिकारी भी मौन साध गए। उनसे इस मामले को लेकर सवाल जवाब किया तो उन्होंने कैमरे पर बोलने से इनकार कर दिया। हालांकि उन्होंने वायरल वीडियो की जांच कराकर दोषियों पर कार्रवाई करने की बात कही है।