मनोज श्रीवास्तव/लखनऊ। उत्तर प्रदेश के हमीरपुर जिले में तीन दिन से लापता 11 साल के किशोर का शव बुधवार को कई टुकड़ों में बरामद होने से सनसनी फैल गई। पुलिस ने चारों तरफ बिखरे पड़े शव के टुकड़ों को समेटकर पुलिस ने पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। परिजनों का आरोप है कि पुलिस की ढिलाई की वजह से किशोर की जान चली गई। अब पुलिस उन दो युवकों की तलाश में है, जिनके खिलाफ कल ही पिता ने बालक को गुम करने की तहरीर दी थी।
भरुआ सुमेरपुर की कांशीराम कॉलोनी निवासी कमरुद्दीन का बेटा सुब्बी (11) 30 अगस्त की सुबह 11 बजे से गुम था। परिजनों ने सारा दिन खोजबीन की, लेकिन कहीं कोई सुराग नहीं मिला। 31 अगस्त को सुब्बी की गुमशुदगी की सूचना थाने में दी गई थी।तहरीर में कॉलोनी से लगे बसंत नगर निवासी माइकल वर्मा और सूरज खंगार के ऊपर सुब्बी को गायब करने का शक जाहिर किया गया था। माइकल और सूरज भी लापता बताए जा रहे थे। लेकिन पुलिस ने इस सूचना पर बहुत ज्यादा गौर नहीं किया।
बुधवार की सुबह कांशीराम कॉलोनी के पीछे नाले के पास मानव अंगों के बिखरे होने की खबर मिलने पर सुब्बी के परिजन मौके पर पहुंच गए। आसपास के इलाके में चारों तरफ बच्चे के शरीर के टुकड़े बिखरे हुए थे। कपड़े देखकर परिजनों ने शिनाख्त की और चीख-पुकार मच गई। मौके पर सीओ सदर अनुराग सिंह भी पहुंच गए। पुलिस ने घटना स्थल पर बिखरे पड़े शव के टुकड़ों को समेटकर पोस्टमार्टम को भेज दिया है। फील्ड यूनिट ने भी घटना स्थल पर साक्ष्य जुटाएं हैं।
मृतक के पिता कमरुद्दीन और बड़े भाई जुम्मन खां का कहना है कि कल ही पुलिस को तहरीर देकर दो युवकों पर आरोप लगाया था, लेकिन कल सारा दिन पुलिस ने आरोपियों की धरपकड़ का कोई प्रयास नहीं किया। वे लोग अपने स्तर से ही सुब्बी की खोजबीन में जुटे रहे। सुब्बी सात भाइयों और दो बहनों में सबसे छोटा था।