यूट्यूब जर्नलिज़म में हैं बेहतरीन कैरियर के अवसर

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-यूट्यूब पर नियमित कंटेन्ट अपलोड करने से हो सकती है अच्छी कमाई

-यूट्यूब जर्नलिज़्म पर चल रहे 10 दिवसीय वैल्यू एडेड कोर्स का हुआ समापन

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कानपुर। छत्रपति शाहू जी महाराज विश्वविद्यालय के पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग द्वारा ‘यूट्यूब जर्नलिज़्म’ विषय पर हाइब्रिड मोड में चल रहे दस दिवसीय वैल्यू एडेड कोर्स में अंतिम दिन शुक्रवार को यूट्यूब के फ्यूचर ट्रेंड्स एवं कैरियर ऑपर्च्युनिटीज के विषय पर विशेषज्ञ के रूप यूट्यूबर किशन चंद ने प्रतिभागियों को बताया कि रोजाना कंटेन्ट बनाकर सोशल मीडिया में अपलोड करने वाले डिजिटल क्रियेटर के लिए इस दुनिया में बहुत ही कैरियर ऑपर्च्युनिटीज हैं।
यूट्यूब जर्नलिज़्म पर बात करते हुये प्रतिभागियों से उन्होंने कहा कि आप अपना यूट्यूब चैनल बनाकर शॉर्ट वीडियोज़, ब्रेकिंग न्यूज बुलेटन, वी-लॉग, ब्रांड स्टोरी टेलिंग के वीडियोज़ बनाने के साथ-साथ लाइव प्रोग्राम भी दिखा सकते हैं या फिर किसी एक विषय पर आधारित चैनल बनाकर दर्शकों की संख्या को बढ़ा सकते हैं। चैनल पर नियमित गुणवत्तापूर्ण कंटेंट अपलोड करके अच्छी कमाई की जा सकती है।

 

इस दौरान उन्होंने कंटेन्ट व वीडियोज़ के बारे में बहुत सारे टिप्स और ट्रिक्स भी बताये।साथ ही उन्होंने कहा कि आज यूट्यूब पत्रकारिता की ओर मुख्यधारा की पत्रकारिता भी परिवर्तित हो रही है चाहे वह कोई समाचार पत्र हो या चैनल सभी वीडिओ कंटेन्ट के लिए यूट्यूब का ही प्रयोग कर रहे हैं। इसलिए आने वाले समय में डिजिटल मीडिया में कंटेन्ट क्रीएटर, वीडियो एडिटर, एंकर, ग्राफिक डिजायनर की बनकर अपना बेहतरीन कैरियर बना सकते हैं।

 

कोर्स कोऑर्डिनेटर डॉ दिवाकर अवस्थी ने बताया कि इस वैल्यू एडेड कोर्स के दौरान प्रतिभागियों ने यूट्यूब जर्नलिज़म के साथ ही वीडियो एडिटिंग, एडवांस वीडियो एडिटिंग, ओबीएस से लाइव स्ट्रीमिंग, कंटेंट स्ट्रेटजी एंड प्लानिंग, सर्च इंजन ऑप्टिमाइजेसन(SEO) एण्ड एनालिटिक्स, मोनेटाइजेसन, कोलेबोरेशन और नेटवर्किंग, लीगल व एथिकल के विषय में प्रयोगात्मक प्रशिक्षण प्राप्त किया। यूट्यूब की दुनिया में काम करने वाले प्रसिद्धि यूट्यूबर्स ने प्रैक्टिकल कराकर सभी को सिखाया।

कोर्स के दौरान एक सत्र में विश्वविद्यालय के प्रति कुलपति प्रो सुधीर कुमार अवस्थी ने कहा कि आज समाज में विमर्श स्थापित करने में यूट्यूब पत्रकारिता का अहम योगदान हो गया है। छोटे-छोटे वीडियो का प्रभाव समाज के हर आयु वर्ग पर पड़ रहा है, चाहे वो बच्चे हों, महिलाएं या बुजुर्ग कोई हो। साथ ही उन्होंने कहा कि आधुनिक समय में परंपरागत मीडिया की अपेक्षा इस मीडिया के द्वारा एक नई क्रांति उभरकर सामने आ रही है, और इसकी लोकप्रियता भी तेजी से बढ़ रही है। यदि समय रहते इसका सही उपयोग नहीं सीखा गया, तो हम बहुत पीछे रह जाएंगे।

विभागाध्यक्ष डॉ योगेंद्र कुमार पांडेय ने बताया कि इस कोर्स के माध्यम से छात्रों को बदलते दौर के साथ डिजिटल पत्रकारिता और यूट्यूब पत्रकारिता की गुणवत्ता और बारीकियों को समझने का भरपूर अवसर मिला।
सत्र के अंत में प्रतिभागियों ने यूट्यूब से जुड़े सवालों को विशेषज्ञ से पूछा। धन्यवाद ज्ञापन डॉ. ओमशंकर गुप्ता ने किया। इस मौके पर डॉ. जितेंद्र डबराल, डॉ. रश्मि गौतम, प्रेमकिशोर शुक्ला, सागर कनौजिया, विभाग के शोधार्थी व ऑनलाइन व ऑफलाइन माध्यम से प्रतिभागी उपस्थित रहे।

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