उत्तर प्रदेश के विंध्य क्षेत्र की अधिष्ठात्री देवी मां विंध्यवासिनी देवी के गर्भ गृह को स्वर्णिम आभा दी जा रही है। स्वर्ण मंडप निर्माण के चलते मां के दर्शन के प्रथम द्वार को बंद कर दिया गया है। गृर्भगृह को नवनिमेष में लगभग साढ़े चार करोड़ रुपए का खर्च आ रहा है,जिसे एक भक्त द्वारा कराया जा रहा है।
जिलाधिकारी प्रियंका निरंजन ने बताया कि भदोही जिले के निवासी तथा मुम्बई के प्रसिद्ध व्यवसायी संजय सिंह ने विंध्याचल मंदिर में मां विंध्यवासिनी देवी के गर्भ गृह में स्वर्ण मंडप लगवाने का प्रस्ताव रखा था।इस कार्य को चुनाव बाद कराने के लिए कहा गया था।उन्होंने बताया कि चुनाव बाद अब मंदिर में कार्य प्रगति पर है। जिलाधिकारी ने बताया कि इस कार्य में लगभग पांच किलो सोना और पचपन किलो चांदी से मां विंध्यवासिनी देवी के गर्भ गृह को स्वर्ण मंडित किया जाएगा।यह कार्य 11जून तक पूरा हो जाएगा।
उधर कोरिडोर निर्माण के बाद अब मां विंध्यवासिनी देवी के मंदिर को 76करोड रुपए की लागत से नव निर्माण कराने के लिए धन मुहैया कराया गया है। स्थानीय भाजपा विधायक एवं मंदिर के पुरोहित रत्नाकर मिश्र ने बताया कि मंदिर निर्माण से बाहरी स्वरूप को भव्यता दी जाएगी परंतु गर्भगृह में कोई परिवर्तन नहीं किया जाना है।