लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने आज यहां अपने सरकारी आवास पर जनपद अयोध्या तथा प्रयागराज में प्रस्तावित अतिविशिष्ट राज्य अतिथि गृहों के निर्माण स्थल, ले-आउट, सुविधाओं व साज-सज्जा आदि के सम्बन्ध में प्रस्तुतिकरण का अवलोकन किया।
राज्य सम्पत्ति विभाग के अधिकारियों के साथ सम्पन्न इस बैठक में मुख्यमंत्री जी ने कहा कि श्रीरामजन्मभूमि मंदिर की स्थापना के पश्चात अयोध्या नगरी में राष्ट्रपति जी, प्रधानमंत्री जी, राज्यपाल जी सहित देश-दुनिया से अनेक विशिष्ट-अतिविशिष्ट अतिथियों का आगमन हो रहा है। इनके प्रवास हेतु सुरक्षा व सुविधा के उत्कृष्ट मानकों के साथ अतिथि गृह की आवश्यकता है। इसी प्रकार प्रयागराज में गणमान्य जनों के बेहतर आतिथ्य के लिए एक सर्वसुविधायुक्त अतिथि गृह बनाया जाना आवश्यक है। इसके लिए प्रक्रिया यथाशीघ्र प्रारम्भ कर दी जाए।
अयोध्या में प्रस्तावित अतिथि गृह के सम्बन्ध में विचार-विमर्श करते हुए मुख्यमंत्री जी ने कहा कि अयोध्या में सरयू नदी के किनारे पर्यटन विभाग की भूमि अतिथि गृह के लिए उपयुक्त होगी। यहां करीब साढ़े तीन एकड़ क्षेत्र में अतिथि गृह बनाया जा सकता है। भवन की वास्तुकला में वैष्णव परम्परा की झलक होनी चाहिए। भवन की ऊंचाई तय करते समय ध्यान रखें कि किसी भी दशा में यह श्रीरामजन्मभूमि मन्दिर से ऊंचा न हो। अतिथि गृहों को ग्रीन बिल्डिंग के रूप में विकसित किया जाए।मुख्यमंत्री जी ने कहा कि अतिविशिष्ट अतिथियों के आगमन को ध्यान में रखते हुए दोनों अतिथि गृहों में पार्किंग की समुचित व्यवस्था होनी चाहिए। अतिथि गृहों में ओ0डी0ओ0पी0 ब्लॉक भी हो ताकि आगन्तुक गण प्रदेश की विविधतापूर्ण शिल्पकला का परिचय प्राप्त कर सकें।
ज्ञातव्य है कि प्रयागराज में लगभग 10,300 वर्ग मीटर एरिया में प्रस्तावित अतिथि गृह महर्षि दयानंद मार्ग पर होगा। यहां कॉन्फ्रेंस हॉल, डायनिंग हॉल, कैंटीन आदि की उपलब्धता होगी।
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