पुरातन हिन्दू धर्म संस्कृति की पुण्य भूमि है भारत : दंडीस्वामी
कुछ ताकते इस्लामी राष्ट्र बनाने पर तुली, परिणाम भयावह होंगे: दंडीस्वामी
नयी दिल्ली, ज्योतिष पीठ के ब्रह्मलीन शंकराचार्य माधवाश्रम के शिष्य जगतगुरु दंडीस्वामी देवादित्यानन्द जी महाराज ने कहा है कि भारत सिर्फ सनातन हिंदू धर्म संस्कृति की प्राचीन भूमि है और इसको लेकर अन्य कोई भी दावा निराधार है।
श्री शंकराचार्य धाम में देश विदेश में संस्कृत विद्यालयो के पुनर्निर्माण एवं गोवंश की रक्षा आदि मुद्दों पर चर्चा के लिए चार दिवसीय प्रवास पर यहां आए जगतगुरु दंडीस्वामी ने भारत को इस्लाम की जन्म स्थली बताने वाले दावे का विरोध करते हुए उसे गलत बताया और कहा कि भारत हिन्दू सनातन धर्म संस्कृति ही अनादि पुरातन धर्म संस्कृति है।
उन्होंने भारत को इस्लाम की जन्मस्थली बताने वाले जमीयत उलेमा-ए-हिंद के प्रमुख मौलाना महमूद मदनी के बयान को बेतुका तथा बेबुनियाद बताया और कहा कि दुर्भाग्य से कुछ ताकते भारत को इस्लामी राष्ट्र बनाने पर तुली हैं लेकिन उन्हें मालूम होना चाहिए कि इसके परिणाम अत्यंत भयावह होंगे।
श्रीशंकराचार्य धाम के प्रवक्ता प्रमोद माहेश्वरी के अनुसार लुधियाना के शंकराचार्य नगर से यहां आए दण्डीस्वामी का कहना है कि जहां-जहां हिंदू पुरातन धर्म संस्कृति पर प्रहार हुए हैं उस भूमि को आतंकवाद, बाढ़, सूखा, भूकंप जैसी प्राकृतिक आपदाओं का सामना करना पड़ा है।